डाउनलोड करें
0 / 0

क्या बारिश होते समय दुआ करना मुस्तहब है? तथा बारिश होने और गरज सुनाई देने के समय क्या दुआ पढ़ी जाएगी?

प्रश्न: 195085

प्रथम : बारिश होने और बिजली देखने और गरज के समय कौन सी दुआ है?
दूसरा : वह कौन सी हदीस है जिससे यह पता चलता है कि बारिश होने के समय दुआ क़बूल होती है?

अल्लाह की हमद, और रसूल अल्लाह और उनके परिवार पर सलाम और बरकत हो।

सर्व प्रथम :

आयशा रज़ियल्लाहु अन्हा से वर्णित है कि अल्लाह के पैगंबर सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम जब बारिश को देखते थे तो फरमाते थे : ‘‘अल्लाहुम्मा सैयिबन नाफिअन’’ (ऐ अल्लाह, इसे लाभकारी बारिश बना)। इसे बुखारी (हदीस संख्या : 1032) ने रिवायत किया है।

तथा अबू दाऊद (हदीस संख्या : 5099) की एक रिवायत के शब्द में है कि आप फरमाते थे : ‘‘अल्लाहुम्मा सैयिबन हनीअन’’ (ऐ अल्लाह, इसे सुखद बारिश बना)। इसे अल्बानी ने सही कहा है।

‘‘अस-सैयिब’’ उस बारिश को कहते हैं जो बहने वाली हो। और इस शब्द का मूल स्रोत है : साबा, यसूबो ; जब बारिश हो। अल्लाह तआला का कथन है :

أو كصيبٍ من السماء

البقرة/:19

‘‘या आकाश से होनेवाली बारिश के समान।'' (सूरतुल बक़रा 2: 19).

उसका वज़न ‘‘अस-सौब’’ शब्द से ‘‘फैइल’’ है।

देखें : खत्ताबी की ‘‘मआलिमुस-सुनन’’ (4/146) .

तथा बारिश के सामने होना ताकि वइ मनुष्य के शरीर के कुछ हिस्से को लग जाए, मुस्तहब (ऐच्छिक) है। क्योंकि अनस रज़ियल्लाह अन्हु से प्रमाणित है कि उन्हों ने कहा : हम अल्लाह के पैगंबर सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम के साथ थे कि हमें बारिश पहुँची। वह कहते हैं कि : तो आप सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम ने अपना कपड़ा हटा दिया यहाँ तकि कि आपके शरीर पर बारिश लग गई। तो हमने कहा : ऐ अल्लाह के पैगंबर, आप ने ऐसा क्यों किया?आप ने फरमाया : ''क्योंकि वह आपके पालनहार के पास से अभी अभी आई है।’’

इसे मुस्लिम (हदीस संख्या : 898) ने रिवायत किया है।

तथा जब बारिश सख्त हो जाती थी तो आप सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम यह दुआ करते थे : ‘‘अल्लाहुम्मा हवालैना वला अलैना, अल्लाहुम्मा अलल आकामि, वजि़्ज़राबि, व बुतूनिल अवदियह, व मनाबितिश्शजर’’ (ऐ अल्लाह, हमारे आसपास बारिश बरसा हमारे ऊपर नहीं, ऐ अल्लाह टीलों, पहाड़ियों, घाटियों के बीच में और पेड़ों के उगने के स्थानों में बरसा)। इसे बुखारी (हदीस संख्या : 1014) ने रिवायत किया है।

रही बात बादल की गरज सुनने के समय दुआ की : तो अब्दुल्लाह बिन ज़ुबैर रज़ियल्लाहु अन्हु से प्रमाणित है कि : ‘‘जब वह बादल की गरज सुनते थे तो बातचीत त्याग देते थे और कहते थे : ‘‘सुब्हानल्लज़ी युसब्बिहुर-रअ्दो बि-हम्दिहि वल-मलाइकतो मिन खीफतिहि‘‘ (पवित्रता है वह अस्तित्व जिसकी स्तुति व गुणगान के साथ बादल की गरज पवित्रता का वर्णन करती है और फरिश्ते भी उसके डर से।’’ (अर-रअद: 13), फिर वह कहते : यह पृथ्वी वालों के लिए कड़ी चेतावनी है।’’ इसे बुखारी ने ‘‘अल-अदबुल मुफ्रद’’ (हदीस संख्या : 723) और मालिक ने ''अल-मुवत्ता’’ (हदीस संख्या : 3641) में रिवायत किया है और नववी ने ‘‘अल-अज़कार’’ (हदीस संख्या : 235) में तथा अल्बानी ने ''सहीहो अदबिल मुफ्रद’’ (हदीस संख्या : 556) में इसकी इसनाद को सहीह करार दिया है।

इसके बारे में हम नबी सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम से मनसूब कोई बात नहीं जानते हैं।

इसी तरह, हमारे ज्ञान के अनुसार नबी सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम से बिजली देखने के समय कोई ज़िक्र या दुआ साबित नहीं है। और अल्लाह तआला ही सबसे अधिक ज्ञान रखता है।

दूसरा :

बारिश के अवतरित होने का समय, अल्लाह की अपने बंदों पर दया और कृपा करने, और उनके ऊपर भलाई के कारणों का विस्तार करने का समय है, तथा उस समय दुआ के क़बूल किए जाना की संभावना है। सहल बिन सअद रज़ियल्लाहु अन्हु की हदीस में मरफूअन (जिसकी इसनाद नबी सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम तक पहुँचती हो) आया है कि : नबी सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम ने फरमाया : ''दो (दुआएं) रद्द नहीं की जाती हैं : अज़ान के समय, और बारिश के नीचे दुआ करना।’’ इसे हाकिम ने ''अल-मुस्तदरक'' (हदीस संख्या : 2534) और तब्रानी ने ‘‘अल-मोजमुल कबीर’’ (हदीस संख्या : 5756) में रिवायत किया है और अल्बानी ने सहीहुल जामि (हदीस संख्या :3078) में सहीह कहा है।

अज़ान के समय दुआ से अभिप्राय : अज़ान के समय या उसके बाद दुआ करना है।

तथा बारिश के नीचे से अभिप्राय बारिश उतरने का समय है।

स्रोत

साइट इस्लाम प्रश्न और उत्तर

at email

डाक सेवा की सदस्यता लें

साइट की नवीन समाचार और आवधिक अपडेट प्राप्त करने के लिए मेलिंग सूची में शामिल हों

phone

इस्लाम प्रश्न और उत्तर एप्लिकेशन

सामग्री का तेज एवं इंटरनेट के बिना ब्राउज़ करने की क्षमता

download iosdownload android
at email

डाक सेवा की सदस्यता लें

साइट की नवीन समाचार और आवधिक अपडेट प्राप्त करने के लिए मेलिंग सूची में शामिल हों

phone

इस्लाम प्रश्न और उत्तर एप्लिकेशन

सामग्री का तेज एवं इंटरनेट के बिना ब्राउज़ करने की क्षमता

download iosdownload android