अल्लाह की आयतों की क़सम खाने का हुक्म
क़सम का कफ़्फ़ारा विस्तार से क्या हैॽ
झूठी क़सम का प्रायश्चित केवल सच्ची तौबा ही कर सकती है
उसने क़सम खाई कि वह किराया चुकाएगा, फिर उसके साथी ने चुका दिया
उसे सच्ची या झूठी कसम खाने की आदत है, तो वह इन कसमों का प्रायश्चित कैसे करे?
उसने रमज़ान में रोज़ा तोड़ने की क़सम खाई
क्या तलाक़ की क़सम अल्लाह के अलावा की क़सम है?
कुछ न करने की क़सम खाने तथा अपनी क़सम न तोड़ने या उसका प्रायश्चित न करने की क़सम खाने का क्या हुक्म हैॽ
क्या क़सम से पलटना जायज़ हैॽ
क़ुरआन के हक़ की क़सम खाने का हुक्म
क़सम के कफ़्फ़ारा में खाना खिलाने की क्षमता के बावजूद रोज़ा रखना पर्याप्त नहीं है
क़सम के कफ़्फ़ारा के रोज़े में निरंतरता शर्त नहीं है
जो व्यक्ति आज्ञाकारिता की नज़्र पूरी करेगा, उसे आज्ञाकारिता के उस कार्य को करने तथा उस नज़्र को पूरा करने के लिए प्रतिफल दिया जाएगा।
उस व्यक्ति पर क्या अनिवार्य है जिसने एक निश्चित समय पर कुछ करने की क़सम खाई, परंतु उसने ऐसा नहीं कियाॽ
उसने ज़ुलहिज्जा के नौ रोज़े रखने की मन्नत मानी है और उसका पति उसे मना कर रहा है
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